कभी कभी गुस्सा आ
ही जाता है। आखिर किसी चीज से बचा जाए भी तो कहां तक..? आखिर चुप्पी भी
साधी जाए तो कहां तक..? दिल का गुबार तो बाहर आ ही जाता है फिर चाहे सामने कैमरा ही क्यों न हो..! बात यूपीए सरकार
में प्रवासी भारतीय मामलों के मंत्री व्यालार रवि की हो रही है। एक महिला पत्रकार
का सवाल पूछना मंत्री महोदय को इतना नागवार गुजरा कि मंत्री साहब ने जवाब देने की
बजाए उल्टा सवाल दाग दिया। सवाल भी ऐसा कि किसी को बताने में भी शर्म आए लेकिन
मंत्री जी को शर्म नहीं आई..! केरल के 17 साल पुराने बहुचर्चित सूर्यनेल्ली गैंगरेप मामले में आरोपों
से घिरे कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और राज्यसभा के उपसभापति पीजे कुरियन की भूमिका
पर केरल की महिला पत्रकार ने जब व्यालार रवि से जब सवाल पूछा तो मंत्री साहब बोले-
उसे कुछ नहीं होगा...क्या आपको कुरियन से कोई निजि दुश्मनी है..? क्या आपके और उनके
बीच भी पहले कुछ हुआ है..?
हालांकि मंत्री जी
को अपनी गलती का एहसास हो गया और मंत्री महोदय ने महिला पत्रकार से माफी भी मांग
ली लेकिन क्या बात यहीं खत्म हो जाती है..?
पहले आप सरेआम किसी
को बेईज्जत कर दो उसके बाद अपने बयान पर खेद जताकर माफी मांग लो। आप महिलाओं की
सुरक्षा की बात करते हो। आप महिलाओं के उत्पीड़न रोकने के लिए कड़े कानून बनाने की
बात करते हो लेकिन एक महिला वो भी पत्रकार के साथ कैमरे के सामने आप इस तरह का
व्यवहार करते हो। वो भी एक ऐसे व्यक्ति के बारे में जो गैंगरेप जैसे गंभीर आरोप से
घिरा हो।
वैसे गलती आपकी भी
नहीं है यूपीए 2 के कार्यकाल के दौरान एक के बाद एक भ्रष्टाचार और घोटालों के साथ
ही सरकार के फैसलों को लेकर उठ रहे सवालों पर कदम कदम पर जवाब देना पहले ही सरकार
में शामिल लोगों के लिए मुश्किल साबित हो रहा था ऐसे में बजट सत्र से पहले कुरियन
पर गैंगरेप के गंभीर आरोप के सवालों की बौछार...आखिर कब तक कोई धैर्य रखेगा। किसी
न किसी के सब्र का पैमाना तो छलकना ही था। व्यालार रवि के साथ भी शायद ऐसा ही हुआ
होगा..! लेकिन ऐसी टिप्पणी तो
किसी को भी शोभा नहीं देती और खासकर केन्द्रीय मंत्री जैसे महत्वपूर्ण पद पर बैठे
व्यक्ति को तो बिल्कुल भी नहीं।
कांग्रेस के वरिष्ठ
नेता और राज्यसभा के उपसभापति कुरियन पर गैंगरेप का गंभीर आरोप है और कुरियन ही संसद
के बजट सत्र में महिला सुरक्षा बिल पेश करेंगे...इसी को लेकर कुरियन का ज्यादा
विरोध हो रहा है और कुरियन के इस्तीफे की भी मांग उठ रही है।
एक तरफ कुरियन कभी कांग्रेस
अध्यक्ष सोनिया गांधी और राज्यसभा के सभापति हामिद अंसारी को पत्र लिखकर सफाई दे
रहे हैं तो कभी दस जनपथ पर हाजिरी लगाकर अपना पक्ष रख रहे हैं...वहीं दूसरी तरफ केन्द्रीय
मंत्री व्यालार रवि जैसे उनके कांग्रेसी सहयोगी उनका खुल कर बचाव कर रहे हैं...ऐसे
में देखना ये होगा कि बजट सत्र से पहले गैंगरेप के गंभीर आरोपों से घिरे पीजे कुरियन
की कुर्सी बचेगी या नहीं..!
बहरहाल हम तो यही
उम्मीद करेंगे कि गैंगरेप जैसे गंभीर आरोप से घिरा एक व्यक्ति कम से कम संसद में महिला
सुरक्षा बिल पेश न ही करे तो अच्छा है क्योंकि अगर कुरियन महिला
सुरक्षा बिल पेश करते हैं तो देश की महिलाओं के साथ इससे बड़ा मजाक और क्या होगा..? उम्मीद है एक
महिला होने के नाते सोनिया गांधी इस चीज को समझेंगी।
deepaktiwari555@gmail.com
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